फिल्म ख़त्म हो चुकी हैं, दर्शक सिनेमा हाल से निकल कर के फ़िल्मी dailog के उपर चर्चा कर रहे हैं.
फिल्म का नाम - अरबो का घोटाला , पटकथा और संवाद - अखिल भारतीय भ्रस्टाचार कमिटी, डाइरेक्टर - सुरेश कलमाड़ी, सह डाइरेक्टर शीला दीक्षित .
पिछले पांच साल कि कड़ी मेहनत के बाद पंद्रह दिन कि शूटिंग हुई, फिल्म रिलीज़ भी हुई , कमाई इतनी कि अगली सात पीढियां निक्कमी भी हो जाय तो चिंता नहीं.
नरसिंह राव जी के उपर मुकदमा चलता रहा, लेकिन एक दिन वो खुद ही चल लिए. क्या करे हमारा संविधान भी तो सबूत मांगता हैं.
आज कल शीला जी काफी परेशान हैं, तो कल रेडियो पे एक गाना बाज रहा था कि " आई अब शीला कि बारी".
जय हो भारत देश कि ....................सचमुच भारत भगवान भरोशे चलता हैं.
4 comments:
kisi ka kuchh bhi nahi hogaa...
:-)
हा हा अब आई शीला की बारी...अरे हजूर सिर्फ बारी आने से कुछ नही होगा..
इन सब की ज्यदाद क्यो नही जब्त कर लेते, फ़िर इन्हे नोरेगा मे काम दिला वे...यह सब बने गे अगले जन्म नाली के कीडे.
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