मुन्नी तो बदनाम हो करके के चली गई, और लोग भूल भी गये लेकिन शीला कि जवानी को लोग आज तक नहीं भूले . और भूले भी तो कैसे , ये रेडियो स्टेशन वाले भुलाने दे तब तो ना.
अब सोनिया कि जवानी (अरे बाप रे ये क्या लिख दिया) माफ़ी चाहूँगा.
हाँ तो भैया शीला कि जवानी के किस्से तो आज भी रेडिओ और टी वी पर जोर शोर से चल रहे हैं. इस चक्कर में दिल्ली में हुए महान राजनितिक घोटालो को लोग भूल चुके हैं.
अरुषि कि फाइल बंद हो गई, क्योंकि हत्यारा नहीं मिला. अब तो मीडिया वाले भी शोर नहीं मचा रहे हैं. लगता हैं कि अरुषि के माता -पिता ने उनको भी उनका हिस्सा दे ही दिया.
नीरा राडिया ने अपनी गिरफ्तारी दे करके गई लोगो कि पोल खुलने से बचा लिया हैं.
लेकिन ये भी तो सच हैं कि कलमाड़ी के बाद अब नंबर शीला कि ज.......................नी का होना चाहिए.
भैया आप तो इस लेख के बारे जो भी सोचे ये आप का काम हैं. टिप्पड़ी कर सके तो कर दें, अन्यथा आप कि मर्जी.
हम तो पुरे परिवार के साथ चले मसूरी घूमने..........................................
अब सोमवार को मिलेंगे...